नैनीताल - जिला पंचायत अध्यक्ष के लिए भाजपा-कांग्रेस में किस पार्टी का सिक्का चलेगा, जानिए क्या बोले दोनों दलों के जिलाध्यक्ष
नैनीताल - उत्तराखंड में पंचायत चुनाव संम्पन होने के बाद अब जिला पंचायत अध्यक्ष की कुर्सी के लिए राजनीतिक दलों द्वारा गोटियां बैठाई जा रही हैं, नैनीताल जिला पंचायत अध्यक्ष पद को लेकर सियासी हलचल तेज हो गई है। कांग्रेस और भाजपा दोनों ही अपने-अपने पत्ते खोलने की तैयारी में हैं, हालांकि अभी तक किसी भी दल ने अपने प्रत्याशी की आधिकारिक घोषणा नहीं की है। इस पद को लेकर जोड़तोड़, धनबल, रणनीति और समीकरणों का दौर जारी है।
नैनीताल जिले में कांग्रेस की ओर से दो महिला उम्मीदवारों के नाम सामने आ रहे हैं — जिनमें रामगढ़ ब्लॉक के सुपी जिला पंचायत सीट से, पुष्पा नेगी की दावेदारी मजबूत है जो पूर्व जिला पंचायत सदस्य लाखन सिंह नेगी की पत्नी और रामगढ की पूर्व ब्लॉक प्रमुख रही हैं। वहीं कांग्रेस से दूसरी उम्मीदवार पूनम बिष्ट हैं, पूनम धारी ब्लॉक के दीनी तल्ली गांव से जिला पंचायत सदस्य बनी हैं, जो गोपाल बिष्ट की पत्नी हैं। कांग्रेस जिलाध्यक्ष राहुल छिम्वाल ने बताया कि दोनों नामों पर विचार हो रहा है और पार्टी जल्द निर्णय लेगी।
भाजपा खेमे की बात की जाए तो, दीपा दरम्वाल का नाम सबसे प्रबल माना जा रहा है। दीपा देवलचौड़ बंदोबस्ती जिला पंचायत सीट से निर्वाचित हुई हैं, लिहाजा उनके पति आनंद दरम्वाल ग्राम प्रधान, बीडीसी, जिला पंचायत सदस्य और जिला पंचायत उपाध्यक्ष रह चुके हैं। भाजपा जिलाध्यक्ष प्रताप बिष्ट ने दीपा की दावेदारी की पुष्टि की है, हालांकि दोनों पार्टियों ने अब तक कोई आधिकारिक प्रत्याशी घोषित नहीं किया है।
आइये जानते हैं, कैसे होता है जिला पंचायत अध्यक्ष का चुनाव?
जिला पंचायत अध्यक्ष का चुनाव सीधे जनता द्वारा नहीं किया जाता, बल्कि यह चुनाव "एकल संक्रमणीय पद्धति (Single Transferable Vote)" से होता है। यह वही प्रक्रिया है जो भारत में राष्ट्रपति चुनाव के दौरान अपनाई जाती है।आसान शब्दों में जानें तो - जनता अपने क्षेत्र से जिला पंचायत सदस्य चुनती है। इन चुने गए सदस्यों द्वारा आपसी मतदान से जिला पंचायत अध्यक्ष चुना जाता है। जिस उम्मीदवार को सबसे अधिक समर्थन प्राप्त होता है, वही अध्यक्ष बनता है। इस प्रणाली में राजनीतिक दलों की एकजुटता, गुप्त समझौते और रणनीति महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
उत्तराखंड राज्य गठन के बाद नैनीताल जिला पंचायत अध्यक्ष पद पर कांग्रेस की पकड़ मजबूत रही है। अब तक कुंवर सिंह नेगी, कमलेश शर्मा, सुमित्रा प्रसाद जैसे नेता कांग्रेस की ओर से इस पद पर काबिज रह चुके हैं। वहीं भाजपा की ओर से अब तक केवल बेला तोलिया ही इस पद तक पहुंची सकी हैं। अब यह देखना दिलचस्प होगा कि इस बार नैनीताल की यह महत्वपूर्ण कुर्सी किस पार्टी की झोली में जाती है—अनुभव का साथ या नए समीकरणों की जीत?
