हल्द्वानी - पाल कॉलेज में सनातन धर्म और संस्कारों की चेतना के लिए हुआ हिंदी साहित्य सम्मेलन, शिक्षाविद बोले बच्चों में स्कूल करें संस्कारों का बीजारोपण

हल्द्वानी में हिंदी साहित्य भारती सम्मेलन
पाल कालेज ऑफ टैक्नोलीजी एण्ड मैनेजमेंट में हिंदी साहित्य भारती की द्वितीय मंडलीय संगोष्ठी व चिंतन बैठक आयोजित की गई। हिंदी साहित्य भारती के केंद्रीय अध्यक्ष व उत्तर प्रदेश के पूर्व शिक्षा मंत्री डॉ. रवींद्र शुक्ल मुख्य अतिथि थे। पूर्व विधायक नारायण पाल, चेयरमैन पाल कालेज ऑफ टैक्नोलोजी एन्ड मैनेजमैंट के कार्यक्रम संयोजक थे। उन्होंने कहा की बच्चों में सनातन धर्म और संस्कारों की चेतना के लिए हुआ हिंदी साहित्य सम्मेलन, शिक्षाविद बोले स्कूल करें संस्कारों का बीजारोपण

मुख्य वक्ता श्री रवीन्द्र शुक्ल जी ने कहा कि भारतीय संस्कृति और चिंतन इसी भावभूमि पर अपने आपको खड़ा रखकर मानवता की रक्षा करने में विश्वास रखता है।
विशिष्ट अतिथि के रूप में डा० मंजू पाण्डे अन्तर्राष्ट्रीय) ने अपने उद्बोधन में कहा कि उदिता (केन्द्रीय सचिव हिन्दी साहित्य भारती आज समाज में व्याप्त विसंगतियों के कारण समाज विघटन की ओर बढ़ रहा है, भारतीय संस्कृति और संस्कारों को बचाना है तो स्कूली स्तर पर ही बच्चों में संस्कारों का बीजारोपण करना होगा उन्हें सनातन धर्म संस्कृति से जोड़ना होगा, समाज की प्रथम ईकाई परिवार को मजबूत और सुरक्षित बनाना होगा ताकि बच्चे भावनात्मक, बौद्धिक, शारीरिक एवं चारित्रिक रूप से सुदृढ़ बनें, विकास के श्रेष्ठतम स्तर तक उनका व्यक्तित्व निखर सके, तभी हमारी भावी पीढ़ी राष्ट्रीय चिंतन में सहायक होगी।

हिंदी साहित्य भारती के जिला महामंत्री डॉ अनुपम शुक्ल ने बताया कि कार्यक्रम के पहले सत्र का शुभारंभ पूर्वाह्न 11 बजे हिन्दी साहित्य भारती के ध्येय गीत के साथ हुआ। उदघाटन सत्र, संगोष्ठी एवं चिंतन बैठक में मुख्य अतिथि श्री रवीन्द्र शुक्ल, अन्तर्राष्ट्रीय अध्यक्ष हिन्दी साहित्य भारती, विशिष्ट अतिथि केंद्रीय मंत्री डॉ मंजू पांडे उदिता रही। मार्गदर्शक मंडल सदस्य डॉ प्रभा पंत ने पहले सत्र की अध्यक्षता की।