उत्तराखंड- अनाधिकृत ऑनलाइन बैकिंग से कट रही है ग्राहकों की जेब, देखिये RBI ने क्यों किया आगाह

मुख्य महाप्रबंधक रिज़र्व बैंक योगेश दयाल ने अनधिकृत डिजिटल ऋण देने वाले प्लेटफॉर्म/मोबाइल ऐप्स के बारे कई महत्वपूर्ण जानकारी साझा की है। उन्होंने जानकारी देते हुए बताया है कि व्यक्तियों ज्यादातर छोटे व्यापारी इन ऐप्स का शिकार हो रहे है। उनकी माने तो इन रिपोर्टों में ब्याज की अत्यधिक दरों और उधारकर्ताओं से मांगे जाने
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उत्तराखंड- अनाधिकृत ऑनलाइन बैकिंग से कट रही है ग्राहकों की जेब, देखिये RBI ने क्यों किया आगाह

मुख्य महाप्रबंधक रिज़र्व बैंक योगेश दयाल ने अनधिकृत डिजिटल ऋण देने वाले प्लेटफॉर्म/मोबाइल ऐप्स के बारे कई महत्वपूर्ण जानकारी साझा की है। उन्होंने जानकारी देते हुए बताया है कि व्यक्तियों ज्यादातर छोटे व्यापारी इन ऐप्स का शिकार हो रहे है। उनकी माने तो इन रिपोर्टों में ब्याज की अत्यधिक दरों और उधारकर्ताओं से मांगे जाने वाले अतिरिक्त छिपे हुए शुल्क, अस्वीकार्य और कठोर वसूली के तरीकों को अपनाना और उधारकर्ताओं के मोबाइल फोन

पर डेटा तक पहुंचने के लिए करार का दुरुपयोग का भी उल्लेख है। उन्होंने बताया कि रिजर्व बैंक के साथ पंजीकृत बैंकों, गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियों (एनबीएफसी) और अन्य संस्थाओं जो सांविधिक प्रावधानों के अंतर्गत राज्य सरकारों द्वारा विनियमित किये गए हों, द्वारा वैध सार्वजनिक ऋण देने की गतिविधियां जैसे कि संबंधित राज्यों के धन उधार कार्य कर सकते हैं।

ऑनलाइन दर्ज करें शिकायत

रिज़र्व बैंक ने आम जनता को आगाह करते हुए इस तरह की बेईमान गतिविधियों का शिकार न होने और ऑनलाइन मोबाइल ऐप के माध्यम से ऋण प्रदान करने वाली कंपनी/फर्म के पूर्व मामलों को सत्यापित करने को कहा है। इसके अलावा, उपभोक्ताओं को अज्ञात व्यक्तियों, असत्यापित/ अनधिकृत ऐप्स के साथ केवाईसी दस्तावेजों की प्रतियों को कभी भी साझा नहीं करने की सलाह दी है। इनता ही नहीं ऐसे ऐप्स से संबंधित ऐप्स और बैंक खातों की शिकायत आप ऑनलाईन https://sachet.rbi.org.in में दर्ज करा सकते है।

पोर्टल के जरिए हासिल करे जानकारी

मुख्य महाप्रबंधक योगेश दयाल ने बताया कि रिजर्व बैंक ने बैंकों और एनबीएफसी की ओर से उपयोग किए जाने वाले डिजिटल लेंडिंग प्लेटफॉर्म को बैंक (को) या एनबीएफसी (यों) के नाम का खुलासा ग्राहकों के सामने करना अनिवार्य किया है। रिजर्व बैंक में पंजीकृत एनबीएफसी के नाम और पते यहाँ से प्राप्त किए जा सकते हैं और रिज़र्व बैंक द्वारा विनियमित संस्थाओं के खिलाफ शिकायत दर्ज करने के लिए पोर्टल https://cms.rbi.org.in के माध्यम से पहुँचा जा सकता है।