शाहजहांपुर में डाक्टर की करतूत, ऑपरेशन के लिए चीरा गर्भवती का पेट, बिना प्रसव कराये लगाये टांके
न्यूज टुडे नेटवर्क। शाहजहांपुर निवासी एक गर्भवती महिला रूबी को उनके परिजनों द्वारा स्वशासी राज्य चिकित्सा महाविद्यालय शाहजहांपुर में भर्ती कराया गया था। जहां संस्थान मे तैनात सीनियर रेजीडेंट चिकित्सक डा सुनीता द्वारा रूबी को बिना प्रसव कराये ही आपरेशन के लिए चीरा लगाने के पश्चात टांके लगाने की घटना सामने आयी है।
रूबी के परिजनों की माने तो आपरेशन के लिए चीरा लगाने के बाद केस को सीरीयस देखकर सीनियर डाक्टर को बुलाने के बजाए बिना प्रसव कराये ही टांके लगा दिये। रूबी के परिजनो ने बताया कि डा सुनीता ने उन्हें हेटरोटॉपिक प्रेगनेंसी यानी बच्चा फसा होने की बात बताई और अल्ट्रासाउंड कराने को कहा रात मे मेडिकल कालेज मे अल्ट्रासाउंड की व्यवस्था न होने के कारण परिजन उसे प्राइवेट अल्ट्रासाउंड सेंटर ले गये।
अल्ट्रासाउंड कराने के पश्चात संस्थान वापस आने के बाद से ही अत्याधिक रक्त स्त्राव के कारण रूबी की हालत बिगड़ने लगी। जिसकी सूचना सुबह उच्च चिकित्सको को प्राप्त हुई। इसके बाद सुबह साढे़ पांच बजे डा पंकज व डा आफरीन द्वारा आपरेशन कर महिला का प्रसव कराया गया। अब महिला और बच्चे की हालत स्थिर बताई जा रही है।
इस मामले मे कालेज के प्राचार्य प्रो डा अभय कुमार सिन्हा ने बताया कि इस समय कई चिकित्सक अवकाश पर चल रहे है जिसके चलते सीनियर चिकित्सक रेजीडेंट को ही मरीजों को देखना पड़ रहा है। परिजनो को केस सीरियस होने की बात तो बता दी गयी परन्तु सीनियर डाक्टरों की मदद नहीं ली गयी। विभागाध्यक्ष अर्चना मिश्र का कहना है कि यदि ऐसा था तो डा सुनीता को तुरन्त सीनीयर्स को बताया चाहिए था। दोनो की जान को भी खतरा हो सकता था।
डा अर्चना मिश्र मेडीकल छुट्टी पर है। डा शिल्पी, डा निहारिका बिना वेतन अवकाश पर है। डा दीपिका की ड्यूटी नही थी इस वजह से सीनीयर रेजीडेंट डा सुनीता को मरीज देखना पड़ा। डा सुनीता को आगे भविष्य मे ऐसी गलती दुबारा न करने की हिदायत दी गयी।