कोरोना के नए स्ट्रेन को लेकर भारत सरकार चिंतित , उठाये ये कड़े कदम, देखिये पूरी जानकारी।

न्यूज़ टुडे नेटवर्क। ब्रिटेन में मिले कोरोना के नए स्ट्रेन (प्रकार) को लेकर बाकी दुनिया की तरह भारत भी चिंतित हो गया है, क्योंकि इसे काफी ज्यादा संक्रामक बताया जा रहा है। कोरोना का यह नया रूप ब्रिटेन के अलावा कई अन्य देशों में भी देखने को मिल रहा है। ऐसे में भारत सरकार भी
 | 
कोरोना के नए स्ट्रेन को लेकर भारत सरकार चिंतित , उठाये ये कड़े कदम, देखिये पूरी जानकारी।

न्यूज़ टुडे नेटवर्क।  ब्रिटेन में मिले कोरोना के नए स्ट्रेन (प्रकार) को लेकर बाकी दुनिया की तरह भारत भी चिंतित हो गया है, क्योंकि इसे काफी ज्यादा संक्रामक बताया जा रहा है। कोरोना का यह नया रूप ब्रिटेन के अलावा कई अन्य देशों में भी देखने को मिल रहा है। ऐसे में भारत सरकार भी सजग हो गयी है भारत में कोरोना संक्रमण के मामलों में अब लगातार कमी आ रही है। आंकड़ों के मुताबिक, बीते 24 घंटे में यहां संक्रमण के महज 19,556 नए मामले ही सामने आए हैं जबकि 30,376 लोग इस बीमारी से ठीक हुए हैं।अब तक देश में कोरोना से 96 लाख से भी अधिक लोग ठीक हो चुके हैं। वहीं यहां सक्रिय मामलों की संख्या कम होकर अब लाख 92 हजार के आसपास पहुंच गई है,

विशेषज्ञों का कहना है कि कोरोना का नया स्ट्रेन भारत में अब तक नहीं पाया गया है, लेकिन इसपर कड़ी निगरानी रखी जा रही है। इसको लेकर कड़े कदम उठाते हुए सरकार ने ब्रिटेन से आने वाली सभी उड़ानों पर 31 दिसंबर तक रोक लगा दी है। ये प्रतिबंध मंगलवार रात 12 बजे से शुरू हो जाएगा। इसके अलावा 25 नवंबर से लेकर अब तक जो भी लोग ब्रिटेन से भारत आए हैं, उनके लिए दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं

सरकार द्वारा जारी किए गए दिशा-निर्देशों के तहत 21 से 23 दिसंबर के बीच ब्रिटेन से भारत आए यात्रियों में से अगर कोरोना पॉजिटिव पाया जाता है तो इस नए स्ट्रेन के लिए उन्हें अलग से टेस्ट कराना होगा। उन्हें राज्य सरकार के आइसोलेशन सेंटर में रखा जाएगा। उनके सैंपल को पुणे स्थित नेशनल इंस्टिट्यूट ऑफ वायरोलॉजी (एनआईवी) भेजा जा सकता है। अगर संक्रमित व्यक्ति में साधारण कोरोना वायरस पाया गया गया तो उन्हें होम आइसोलेशन की इजाजत मिल सकती है, लेकिन अगर उनमें कोरोना का नया स्ट्रेन पाया गया तो उन्हें 14 दिन सरकारी आइसोलेशन सेंटर में बिताने होंगे। उसके बाद फिर से उनका टेस्ट किया जाएगा। अगर 24 घंटे के अंतराल पर दो बार रिपोर्ट निगेटिव आई, तो ही उन्हें छुट्टी मिलेगी।

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने इस बात की पुष्टि की है कि ये सिर्फ एहतियाती कदम है, भारत में ये नया स्ट्रेन नहीं मिला है।स्वास्थ्य मामलों संबंधी नीति आयोग के सदस्य डॉ. वी. के. पॉल ने भी बताया कि वायरस का नया रूप अभी भारत में नहीं देखा गया है। उन्होंने कहा कि इससे घबराने की जरूरत नहीं है, लेकिन सतर्क रहने की जरूरत है। साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि वायरस के नए रूप से विकसित की जा रही वैक्सीन की क्षमता पर अभी तक कोई साइड-इफेक्ट (दुष्प्रभाव) नहीं देखा गया है।

कोरोना के इस नए स्ट्रेन के बारे में कहा जा रहा है कि इसका म्यूटेशन वायरस में 17 बदलावों के साथ हुआ है, यह ज्यादा खतरनाक है और ये वायरस युवाओं को ज्यादा चपेट में ले रहा है। ऐसे में फिलहाल सावधानी ही एकमात्र बचाव है। आप विशेषज्ञों के बताए नियमों का पालन जरूर करें, तभी कोरोना के किसी भी स्ट्रेन से बच सकते हैं, चाहे वो कितना भी संक्रामक क्यों न हो।