बरेली: जब स्टेशन पर पड़ा यात्री को हार्टअटैक, रेलवे की टीम ने ये किया

न्यूज टुडे नेटवर्क। यूपी के बरेली जंक्शन पर उस वक्त हड़कंप मच गया जब एक यात्री को हार्टअटैक पड़ने से उसकी तबियत बिगड़ गई। आनन-फानन सक्रिय हुए रेल अफसरों ने तुरंत कमान संभाल ली। उसे प्राथमिक उपचार देकर अस्पताल पहुंचाया। इस दौरान अन्य यात्रियों की सांसें थमी रहीं। हालांकि, बाद में रेलवे अफसरों ने बताया
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बरेली: जब स्टेशन पर पड़ा यात्री को हार्टअटैक, रेलवे की टीम ने ये किया

न्‍यूज टुडे नेटवर्क। यूपी के बरेली जंक्‍शन पर उस वक्‍त हड़कंप मच गया जब एक यात्री को हार्टअटैक पड़ने से उसकी तबियत बिगड़ गई। आनन-फानन सक्रिय हुए रेल अफसरों ने तुरंत कमान संभाल ली। उसे प्राथमिक उपचार देकर अस्‍पताल पहुंचाया। इस दौरान अन्‍य यात्रियों की सांसें थमी रहीं। हालांकि, बाद में रेलवे अफसरों ने बताया कि ये मॉक ड्रिल थी। इसके बाद यात्रियों ने राहत की सांस ली।

नेशनल डिजास्टर रिस्पांस फोर्स गाजियाबाद टीम के एसआई प्रवीण कुमार और उनकी 6 सदस्यीय टीम आरपीएफ इंस्पेक्टर वीके सिसोदिया के नेतृत्व में सुबह 11 बजे जंक्शन पहुंची। टीम ने आपदा प्रबंधन का प्रशिक्षण कार्यक्रम शुरू किया। प्रशिक्षण में 60 आरपीएफ और 10 जीआरपी के जवान शामिल हुए। भूकंप, बाढ़ और रेल हादसे के दौरान यात्रियों को सुरक्षित बचाने का प्रशिक्षण दिया। बताया कि ट्रेन में किसी यात्री को हार्टअटैक पड़ता है तो उसको हम किस तरह से हार्ट पंप करेंगे जिससे यात्री की अस्‍पताल पहुंचाने में देर न हो।

अगर भूकंप में कहीं लिंटर गिरता है। उसके नीचे लोग फंसे हैं तो किस तरह से लिंटर काट सकते हैं जिससे नीचे फंसे लोगों को किसी प्रकार की कोई जन क्षति न पहुंचे। बाढ़ में किस तरह से 48 घंटे तक पानी मे सुरक्षित रहना है। लकड़ी की नाव कैसे बनती है? अगर स्ट्रेचर की सुविधा नहीं है  तो कंबल और चादर का स्ट्रेचर कैसे बनाएंगे ? इन तमाम बिंदुओं पर कर्मचारियों को प्रशिक्षण दिया गया। आरपीएफ इंस्पेक्टर वीके सिसोदिया ने बताया कि आपदा प्रबंधन प्रशिक्षण के लिए कैंप का आयोजन कर मॉक ड्रिल कराई गई जो सफल रही।