स्टूडेंट कार्नर: बोर्ड परीक्षाओं के समय सिर्फ अपनी मेहनत पर भरोसा रखें छात्र, पाजिटिव होकर तैयारी करें

उत्तर प्रदेश प्रधानाचार्य परिषद के अध्यक्ष ब्रजेश कुमार शर्मा ने दिए परीक्षाओं में छात्रों को सफलता के टिप्स

 

न्यूज टुडे नेटवर्क। बोर्ड परीक्षाओं की तैयारी को लेकर छात्र अक्ससर चिंतित रहते हैं और परीक्षाओं के नजदीक आने पर यह तनाव और भी बढ़ जाता है। विद्यार्थियों में परीक्षा शब्द कुछ ज्यादा ही चिंता भर  देता है। ऐसे समय पर बैचेनी महसूस होना पूरी तरह से सामान्य है और यह सभी के साथ होती है। इसी घबराहट और बेचैनी को छात्र तनाव के रूप में ले लेते हैं जिसका सीधा प्रभाव छात्रों की पढ़ाई और परीक्षाफल पर दिखायी देता है। बेहतर रिजल्टं पाने के लिए छात्र वैसे तो साल भर पूरी तैयारी करते ही हैं लेकिन परीक्षाओं के वक्तर पढ़ाई का दबाव ज्याादा होने से छात्र बेहतर तैयारी नहीं कर पाते। बोर्ड परीक्षाओं की तैयारी कैसे करें और किस प्रकार बेहतर रिजल्टद प्राप्त् करें यह टिप्सह जानने के लिए न्यूओज टुडे नेटवर्क ने उत्तऔर प्रदेश प्रधानाचार्य परिषद के अध्य‍क्ष ब्रजेश कुमार शर्मा से वार्ता की।

ब्रजेश कुमार शर्मा ने बताया कि परीक्षा के समय छात्र सिर्फ अपनी मेहनत पर भरोसा रखें और और इस दौरान उत्पशन्नन होने वाले तनाव पर काबू रखें। परीक्षाओं में संभावनाओं को आगे रखें। परीक्षाओं के समय पाजिटिव होकर तैयारी करें इस समय छात्रों को असफलता जैसे निगेटिव विचार मन में नहीं लाने चाहिए।

कुछ बातें जो परीक्षा तनाव के स्तर में बढ़ोतरी करते हैं:

अपर्याप्त तैयारी

अधूरा / अपूरित पाठ्यक्रम और

परीक्षा से पहले की रात में रटना

परीक्षा और पिछली परीक्षा में खराब प्रदर्शन के परिणामों के बारे में चिंता

अन्य लोगों के साथ अपने आप की तुलना भी परीक्षा तनाव के कारक व कारण है।

उत्तेजक खाद्य पदार्थों का उपयोग

इन कारणों के अलावा से चाय और कॉफी की तरह कैफीनयुक्त पेय का अत्यधिक सेवन तनाव के स्तर को बढ़ा सकते हैं। हालांकि सभी परीक्षा तनाव बुरे नहीं होते । थोड़ा परीक्षा तनाव हमें सक्रिय, प्रेरित और हमारा ध्यान केंद्रित रखता है। लेकिन बहुत ज्यादा तनाव एक गम्भीर मामला है जो कि अक्सर हमारी सोचने की क्षमता को कम  करता है और मन में नकारात्मक सोच को बढ़ावा देकर परीक्षा के प्रदर्शन में रुकावट पैदा करता है। इसीलिए, हम यहाँ कुछ अचूक उपाय/तरीकों की बात करते हैं, जो तनाव के स्तर पर नियंत्रण रखने और परीक्षा के दिन तनाव कम करने मे आपकी मदद करेगी।

परीक्षाओं में संभावनाओं को ना छोड़ें

आमतौर पर, हम परीक्षाओं को जिंदगी और मौत का सवाल मान बैठते हैं| निश्चित रूप से परीक्षाएँ ज़िन्दगी और मौत का सवाल नहीं हैं। एक ही परीक्षा पर अपनी सारी उम्मीदें लगाने से बचना चाहिए। ये परीक्षाएँ आपके भविष्य की निर्णायक हो सकती हैं लेकिन बहुत कम समय के लिए, हमेशा ध्यान रहे कि ये परीक्षायें आपके लायक या नालायक होने को नहीं दर्शाती। याद रखें कि आपको अपना बेहतर देना है लेकिन साथ ही यह भी याद रखें कि सिर्फ यही सब कुछ नहीं है। यहाँ तक कि अगर आप बेहतर नहीं भी कर पाए, तो भी भविष्य में इसे पाने के लिए आपको जीवित रहना है और आगे बढना होगा।

सिर्फ अपनी मेहनत पर भरोसा रखें और तनाव पर काबू करें

सफलता की एकमात्र कुंजी आत्मविश्वास और आपका अपनी तैयारी पर भरोसा है। यह ज्ञात रहे कि आपने अपनी क्षमताओं के अनुसार मेहनत की है और आपको अपनी तैयारी पर भरोसा है। घबराहट और दिल की तेज़ होती धड़कन को एक गहरी सांस लेने से कम किया जा सकता है इसीलिए इस प्रकार के उपायों का प्रयोग करें| चिंताओं, भारी भावनाओं और ध्यान केंद्रित करने जैसे कार्यों पर गहरी सांस लेना कारगर सिद्ध हुआ हैं।

सभी नकारात्मक विचारों को सकारात्मक विचारों के साथ बदलें। उदाहरण के लिए, परीक्षा में खराब प्रदर्शन के परिणामों के बारे में सोचने के बजाय ये सोचें कि यदि आप परीक्षा बहुत अच्छे अंकों से प्राप्त कर लेते हैं तो क्या होगा| अपने आप को बताने का प्रयास करें कि मैं मेहनती हूँ,” “मैं साहसी हूँ,” “मैं यह कर सकता हूँ,” या सब कुछ अच्छा ही होगा।इस तरह आप अपनी सोच से नकारात्मकता को बाहर करने, मानसिक रूप से अधिक स्वास्थ्य होने और अपनी खुशहाली बढाने में सक्षम होंगे।

तैयारी के दौरान उचित नींद लें

अधिकांश लोग आगामी परीक्षा की तैयारी करने के चक्कर में अपनी नींद के साथ समझौता करते हैं। ये क्रियाएं शरीर और दिमाग पर फायदों से ज़्यादा नुकसान करती है। इस प्रकार, नींद परीक्षा की तैयारी करने और योजनाओं को प्रभावी ढंग से बनाने के लिए ज़रूरी है।

शारीरिक सक्रियता का ध्यान रखें

परीक्षाओं के समय छात्रों को शारीरिक सक्रियता पर विशेष ध्यातन देना चाहिए। इससे मन मस्तिष्क  पर तनाव के कारण होने वाले विपरीत प्रभावों को कम करने में भी सहायता मिलती है। शारीरिक रूप से सक्रिय रहने से परीक्षाओं की चिंता को भी कम किया जा सकता है। परीक्षाओं की तैयारी के दौरान समय निकालकर छात्रों को बाहर टहलने जाना चाहिए।  व्यायाम, ध्यान आदि अध्ययन के दौरान नियमित रूप से ब्रेक लेकर करना चाहिए। ये कुछ गतिविधियाँ तनाव दूर करने के अच्छे उपाय माने जाते है। ये न केवल कुछ समय के लिए आपके मन को अच्छा करती है, बल्कि यह अगले पढाई के समय के लिए फिर से तरोताजगी से भर देती है| तो, अगली बार जब भी आप घबराहट या चिंता महसूस करें तो आप अपनी पसंद के गाने सुने या अपने अपने कुत्ते को टहलाने के लिए बाहर लेकर जाएँ।