बंगाल में अमित शाह बोले- नेताजी सुभाष बोस की शहादत को भुलाया नहीं जा सकता, भावी पीढि़यों के लिए आदर्श हैं नेताजी

न्यूज टुडे नेटवर्क। केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कोलकाता में कहा कि नेताजी सुभाष चंद्र बोस की शहादत भावी पीढि़यों को प्रेरित करती रहेगी। शाह बंगाल के दो दिनी चुनावी दौरे पर हैं। इससे पहले गुरूवार को शाह ने ममता बनर्जी के खिलाफ रैली की थी। शुक्रवार को भी बंगाल की अस्मिता से जुड़े
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बंगाल में अमित शाह बोले- नेताजी सुभाष बोस की शहादत को भुलाया नहीं जा सकता, भावी पीढि़यों के लिए आदर्श हैं नेताजी

न्‍यूज टुडे नेटवर्क। केन्‍द्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कोलकाता में कहा कि नेताजी सुभाष चंद्र बोस की शहादत भावी पीढि़यों को प्रेरित करती रहेगी। शाह बंगाल के दो दिनी चुनावी दौरे पर हैं। इससे पहले गुरूवार को शाह ने ममता बनर्जी के खिलाफ रैली की थी।  शुक्रवार को भी बंगाल की अस्मिता से जुड़े नेताजी सुभाष बोस के बारे में शाह ने बखान करते हुए संबोधन दिया।

उन्‍होंने कहा कि नेताजी को भुलाया नहीं जा सकता। उनकी देशभक्ति और शहादत भावी पीढ़ियों को प्रेरित करती रहेगी। बंगला क्रांतिकारियों के सम्मान में यहां स्थित आयोजित ‘‘शौर्यांजलि’’ कार्यक्रम को संबोधित करते हुए शाह ने युवाओं से स्वतंत्रता सेनानियों के जीवन और संघर्ष से प्रेरणा लेने का आह्वान किया। उन्होंने कहा, ‘‘बहुत प्रयास किए गए कि सुभाष बाबू को भुला दिया जाए, परन्तु कोई कितना भी प्रयास करे, उनका कर्तव्य, देशभक्ति और उनका सर्वोच्च बलिदान पीढ़ियों तक भारत वासियों के जहन में जस का तस रहने वाला है।’’

उन्होंने कहा कि सुभाष बाबू को देश की जनता इतने वर्ष के बाद भी उतने ही प्यार और सम्मान से याद करती है जितना उनके जीवित रहने और संघर्ष के दौरान करती थी। एक उत्कृष्ट छात्र के रूप में सुभाष चंद्र बोस के जीवन और उनके आईसीएस की परीक्षा पास करने का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि इस स्वतंत्रता सेनानी ने नौकरी छोड़ दी और स्वाधीनता के आंदोलन में कूद गए ताकि यह संदेश जाए कि अंग्रेजी हुकूमत के अधीन आरामदेह जीवन जीने के मुकाबले देश उनके लिए महत्वपूर्ण है। शाह ने कहा कि सुभाष चंद्र बोस की लोकप्रियता का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता था कि वह दो बार कांग्रेस के अध्यक्ष बने और एक बार तो उन्होंने महात्मा गांधी के उम्मीदवार तक को हराया। उन्होंने देश के युवाओं से आग्रह किया कि वह सुभाष चंद्र बोस के जीवन और उनके संघर्षें के बारे में पढ़ें।

उन्होंने कहा, ‘‘जो युवा पीढ़ी अपने इतिहास को जानती है, वही एक मजबूत राष्ट्र का निर्माण कर सकती है।’’ शाह ने इस अवसर पर खुदीराम बोस और रास बिहारी बोस जैसे स्वतंत्रता सेनानियों के जीवन पर आधारित एक प्रदर्शनी ‘‘बिप्लबी बांग्ला’’ का भी उद्घाटन किया और एक साइकिल रैली को रवाना किया। नेताजी, खुदीराम बोस और रास बिहारी बोस के नाम पर बनी तीन टीमें स्वतंत्रता सेनानियों के संदेशों को पुहंचाने के लिए 900 किलोमीटर की साइकिल यात्रा करेगी।