मन में लड़कियों जैसे ख्‍याल आते थे तो मर्द से बन गया औरत, अब रेलवे ने भी कह दिया, राजेश ही है सोनिया

अब रेलवे ने भी कह दिया, राजेश ही है सोनिया: शरीर मर्दों का था मगर मन में महिलाओं के ख्यालात हावी थे। राजेश ने कई बार इन ख्यालों से छुटकारा पाने की कोशिश की। छुटकारा नहीं मिला तो राजेश ने लिंग परिवर्तन (gender change) कराने की ठानी। रेलवे (railway) में कार्यरत राजेश देखते ही देखते
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मन में लड़कियों जैसे ख्‍याल आते थे तो मर्द से बन गया औरत, अब रेलवे ने भी कह दिया, राजेश ही है सोनिया

अब रेलवे ने भी कह दिया, राजेश ही है सोनिया: शरीर मर्दों का था मगर मन में महिलाओं के ख्‍यालात हावी थे। राजेश ने कई बार इन ख्‍यालों से छुटकारा पाने की कोशिश की। छुटकारा नहीं मिला तो राजेश ने लिंग परिवर्तन (gender change) कराने की ठानी। रेलवे (railway) में कार्यरत राजेश देखते ही देखते सोनिया बन गए। मर्द से औरत बने राजेश को तीन साल बाद रेलवे ने भी महिला मान लिया है। रेलवे ने लिखकर दे दिया है कि राजेश ही सोनिया है।
मन में लड़कियों जैसे ख्‍याल आते थे तो मर्द से बन गया औरत, अब रेलवे ने भी कह दिया, राजेश ही है सोनिया
कुछ महीने पहले इज्जतनगर के मुख्य कारखाना प्रबंधक कार्यालय में कार्यरत तकनीकी ग्रेड-एक के पद पर तैनात राजेश पाण्डेय का एक अनोखा मामला सामने आया था। राजेश ने अफसरों से गुहार लगाई थी उसे रेलवे के रिकार्ड में महिला कर दिया जाए। मामला अनोखा और दुर्लभ होने के कारण इज्जतनगर मण्डल ने मामले को पूर्वोत्तर रेलवे के जीएम कार्यालय से दिशा-निर्देश मांगा था। यह मामला जब जीएम के सामले आया तो उन्होंने इसे बोर्ड को भेजा। आखिरकार रेलवे ने राजेश के पास और मेडिकल कार्ड पर लिंग महिला दर्ज कर दिया है।

चार बहनों में इकलौता भाई, वह भी बन गया लड़की
चार साल पहले चार बहनों के इकलौते भाई राजेश लिंग परिवर्तन कराकर लड़की बन गया था। वह इज्जनगर मुख्य कारखाना प्रबंधक कार्यालय में तकनीकी ग्रेड वन पद पर तैनात है। पिता और बड़े भाई की मौत के बाद अनुकंपा के तहत 19 मार्च 2003 को राजेश रेलवे में भर्ती हुआ। परिवार में चार बहनें और मां हैं। वर्ष 2017 में राजेश ने लिंग परिवर्तन करा लिया और महिला बन गया। उसने अपना नाम सोनिया रख लिया। रेलवे के इतिहास में ऐसा पहली बार हुआ कि जिसमें किसी पुरुषकर्मी ने लिंग परिवर्तन किया हो।
मन में लड़कियों जैसे ख्‍याल आते थे तो मर्द से बन गया औरत, अब रेलवे ने भी कह दिया, राजेश ही है सोनिया
जानिए क्‍या होता है जेंडर डिस्फोरिया
राजेश को मेडिकल बोर्ड की रिपोर्ट के आधार पर जेंडर डिस्फोरिया यानी एक लिंग से दूसरे लिंग की चाह के तहत महिला की पहचान दी गई है। जेंडर डिस्फोरिया में कुछ लोगों के स्त्री देह में पुरुष मन या पुरुष देह में स्त्री मन होता है। यह जैविक या प्राकृतिक त्रुटि के अलावा हार्मोन के बदलाव का नतीजा है।

कई दिन सोचते रहे फिर किया महिला बनने का फैसला
राजेश ने बताया कि उसने परिवार में बेटे के रूप में जन्म लिया। बाद में उसके शरीर में कुछ अस्वभाविक परिवर्तन हुए। तन पुरुष जैसा था और मन में महिलाओं जैसे ख्याल आने लगे। परिवार के लोगों ने शादी करा दी। सोनिया ने जीवनसाथी को अपने ख्याल के बारे में बता दिया। इसके बाद दोनों ने सहमति से तलाक ले लिया। वर्ष 2017 में सर्जरी कराकर लिंग परिवर्तन करा लिया।

यह कहा है रेलवे ने
मुख्य कारखाना प्रबंधक इज्जतनगर ने कार्मिक विभाग को पत्र लिखकर कहा है कि रेलवे बोर्ड का अंतिम आदेश आने तक राजेश पाण्डेय को महिला माना जाए। इसी निर्देश के बाद राजेश पाण्डेय उर्फ सोनिया के पास और मेडिकल कार्ड में लिंग बदलकर पुरुष से महिला दर्ज कर दिया गया है। लंबी लड़ाई जीतने के बाद सोनिया खुश है। अब राजेश उसका गुजरा हुआ कल बन जाएगा। उसे सरकारी रूप से महिला के रूप में पहचान मिल जाएगी।