मंगलवार को बरेली कॉलेज का गेट खूला लेकिन क्लास में लटका मिला ताला उदास होकर घर लौटे विद्यार्थी

बरेलीः आठ माह के बाद मंगलवार को बरेली कॉलेज का गेट खूला लेकिन क्लास में ताला लटका मिला निराश होकर छात्र-छात्रओं वापस लौटना पड़ा । नए सत्र की पढ़ाई शुरू होने के पहले ही दिन कॉलेज का सिर्फ नाम भी रह गया. रोस्टर लागू कर पहले दिन बीएससी प्रथम वर्ष के छात्र-छात्राओं को बुलाया गया था।
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मंगलवार को बरेली कॉलेज का गेट खूला लेकिन क्लास में  लटका मिला  ताला  उदास होकर घर लौटे विद्यार्थी

बरेलीः आठ माह के बाद मंगलवार को बरेली कॉलेज का गेट खूला लेकिन क्लास में ताला लटका मिला निराश होकर छात्र-छात्रओं वापस लौटना पड़ा ।   नए सत्र की पढ़ाई शुरू होने के पहले ही दिन कॉलेज का सिर्फ नाम भी रह गया.   रोस्टर लागू कर पहले दिन बीएससी प्रथम वर्ष के छात्र-छात्राओं को बुलाया गया था। कुछ कक्षाएं सुबह 8.40 बजे से शुरू होनी थीं, छात्र-छात्राएं कॉलेज के तरफ निर्धारीत समय से पहले पहुँच गए थे. लेकिन ज्यादातर विभागों में ताला लटका रहा। छात्र-छात्राएं क्लास खुलने और शिक्षक के आने का इंतजार करते रहे। करीब 10.30 बजे तक जब कक्षाएं नहीं शुरू हुईं तो मायूस होकर अधिकांश विद्यार्थी वापस लौट गए।
कोरोना के कारण आठ माह से बंद बरेली कॉलेज में मंगलवार से परास्नातक व स्नातक की कक्षाएं शुरू होनी थीं। छात्र-छात्राओं ने बताया कि सुबह 8:40 पर बीएससी प्रथम वर्ष मैथ्स की क्लास शुरू होगी, लेकिन विभाग में शिक्षक नहीं पहुंचे। शिक्षको के इंतजार में छात्र मैदान में तो छात्राएं विभाग के बाहर ही खड़ी रही केमिस्ट्री की क्लास सुबह 8:10 पर खोली गई। पढ़ाने के लिए कोई शिक्षक नहीं पहुंचा। बीएससी प्रथम वर्ष भौतिक विज्ञान की कक्षाएं सुबह 9:20 पर शुरू होनी थी, लेकिन यहां भी सन्नाटा पसरा रहा। कुछ ऐसा ही हाल बीएससी बायोटेक विभाग का रहा। सुबह 9.30 बजे तक चैनल का गेट तक नहीं खुला। बीएससी प्रथम वर्ष बॉटनी की कक्षाएं भी 10 बजे के बाद शुरू हुईं। पहले दिन विभागों के बाहर सुबह शेड्यूल न चस्पा होने से बहुत से छात्र कक्षाएं ढूंढते रहे।

बरेली कालेज के कार्यवाहक प्राचार्य डॉ. अनुराग मोहन का कहना है कि सभी हेड की जिम्मेदारी है कि वे समय से कक्षाओं का संचालन करें। इसीलिए शेड्यूल जारी किया गया है। जिन शिक्षकों ने क्लास नहीं ली है, उनके हेड से पूछा जा रहा है।